तस्वीर

तस्वीर

अपनी तस्वीर भेज दो की ,
तनहाई कटे |
किसी तरह तो दर्द जुदाई ,
का घटे |

नियम

नियम

हैँ समाज का नियम भी ऐसा पिता सदा गम्भीर रहे,
मन मे भाव छुपे हो लाखोँ आँखो से न नीर बहे,
करे बात भी रुखी-सूखी बोले बस बोल हिदायत के,
दिल मे प्यार है माँ जैसा ही किंतु अलग तस्वीर रहे |

आपकी तस्वीर

आपकी तस्वीर

'न जाने क्यू अभी आपकी याद आ गयी,
मौसम क्या बदला बरसात भी आ गयी,
मैंने छुकर देखा बूंदों को तो,
हर बूंद में आपकी तस्वीर नज़र आ गयी…'